लोबेलिआ: स्रोत, स्थूल वर्ण और उपयोग

समानार्थी और क्षेत्रीय नाम:

भारतीय तंबाकू, जंगली तंबाकू बेन। - बंटामाकु, बदनलाल; Guj। - नाली; माई। - कट्टूपुकेला; मार। - देवनाला; सैन। - बिभीषण।

जैविक स्रोत:

लोबेलिया में लोबेलिया निकोटियानाफोलिया हेने के सूखे हवाई हिस्से होते हैं। इसमें लोबलाइन के रूप में गणना की गई कुल एल्कलॉइड का 0.55% से कम नहीं है।

परिवार:

Lobeliaceae।

भौगोलिक स्रोत:

यह महाराष्ट्र के पश्चिमी घाट पर केरल में 700 से 2300 मीटर की ऊंचाई पर ट्राईयर तक बढ़ने वाली एक द्विवार्षिक या बारहमासी जड़ी बूटी है। यह दक्षिण महाराष्ट्र, नीलगिरि और कर्नाटक में भी पाया जाता है। लोबेलिया इनफ्लो पूर्वी और मध्य अमरीका और हॉलैंड के लिए स्वदेशी है।

स्थूल वर्ण:

उपजी:

प्रपत्र- गोल, चैनल, आमतौर पर शीर्ष पर शाखा;

रंग - एक पर्पलिश-टिंट के साथ हरा;

भूतल- कुछ हद तक यौवन

पत्ते:

अल्टरनेट, सब सेसाइल, ओब्सेवेट लांसोलेट, तीव्र, अंत में सेरुलेट; ऊपरी सतह चमकदार होती है, जबकि नीचे से प्यूब्सेंट तक चमकदार होती है।

फल:

अनुदैर्ध्य रिब्ड, सबग्लोबोज, फुलाया हुआ कैप्सूल।

बीज:

छोटा, दीर्घवृत्ताभ, संपीड़ित, मोटे तौर पर जालीदार;

गंध- गंधहीन;

स्वाद- बेहद तीखा और परेशान करने वाला।

रासायनिक घटक:

1. अल्कलॉइड

मैं। Lobeline,

ii। Lobelidine,

iii। Lobelanine,

iv। आइसोलोबेनिन और

v। लोबेलनिडीन।

2. इसमें तीखे वाष्पशील तेल, राल, गोंद और निश्चित तेल भी होते हैं।

रासायनिक परीक्षण:

सल्फ्यूरिक एसिड में लोबेलिन का समाधान फॉर्मेल्डिहाइड के साथ लाल रंग देता है। उबलने पर लोबेलिन का घोल एसिटोफेनोन पैदा करता है, जिसे गंध से पहचाना जाता है।

उपयोग:

1. इसका उपयोग स्पस्मोडिक अस्थमा और क्रोनिक ब्रोंकाइटिस में किया जाता है।

2. शारीरिक क्रिया निकोटीन के समान है।

3. पुनर्जीवन के मामले में (एक मृतक के जीवन की पुनर्स्थापना)।

4. यह श्वसन उत्तेजक में उपयोग किया जाता है।